कांग्रेस का 85वां महाधिवेशन और संकल्प पत्र
साथियों नमस्कार, ThePahad.Com में आपका स्वागत है, आज हम बात करेंगे कांग्रेस के 85वे महाधिवेशन के दौरान पर्वतीय राज्यों को लेकर लिए गए उस खास संकल्प की जिसकी मांग पिछले 8 सालों से उठ रही थी
कांग्रेस पार्टी समय-समय पर पार्टी के केन्द्रीय सदस्यों, राज्य स्तरीय सदस्यों तथा जिला स्तरीय सदस्यों की बैठक कराती है, इस बैठक में आने वाले चुनावों को लेकर योजनाएं बनाई जाती हैं
इस संकल्प पर अगर काम किया गया तो इस बार पर्वतीय राजनीति में एक नया मोड़ आ सकता है
कांग्रेस का 85वां महाधिवेशन स्थल
इस साल रायपुर छत्तीसगढ़ में कांग्रेस पार्टी का 85वां महाधिवेशन संपन्न हुआ है
हम इस महाधिवेशन की बात इसलिए कर रहे हैं क्योंकि कांग्रेस पार्टी के इस महाधिवेशन में
2024 चुनावों को लेकर बनाए गये संकल्प पत्र में ये बात राखी गयी है कि
कांग्रेस सत्ता में वापस आते ही हमारे पर्वतीय राज्यों को पुनः विशेष राज्य का दर्जा दिलाया जायेगा जोकि सभी पर्वतीय और हिमालयी राज्यों के लिए खास है
विशेष राज्य का दर्जा क्या होता है
पर्वतीय राज्यों की भौगोलिक परिस्तिथियों को देखते हुए तत्कालीन प्रधानमंत्री श्रीमती इंदिरा गाँधी ने
जम्मू-कश्मीर , हिमाचल और उत्तराखंड को विशेष राज्य का दर्जा दिया था
लाभ
विशेष राज्य का दर्जा मिलने से राज्यों को मिलने वाले अनुदान का 90 फ़ीसदी भगतान केंद्र करता है
तथा 10 फ़ीसदी राज्य जबकि सामान्यतः यह 60/40 फ़ीसदी होता है
अब आप सोच रहे होंगे कि जब इंदिरा गाँधी ने पर्वतीय राज्यों को विशेष राज्य का दर्जा दे दिया था
तो उसकी मांग दोबारा क्यों की जा रही है ?
आपको बता दें कि साल 2014 में मोदीजी ने प्रधानमंत्री बनते ही इन राज्यों से वो विशेष राज्य का दर्जा छीन लिया था)
कांग्रेस पार्टी के इस 85वे महाधिवेशन से 2024 के लोकसभा चुनावों में उसे कितना लाभ होगा ये तो आने वाला वक्त बताएगा परन्तु पर्वतीय राज्यों को विशेष राज्य का दर्जा देने का ये संकल्प, पर्वतीय क्षेत्र की राजनीति में एक अलग मोड़ जरूर ले आएगा
आप हमें youtube पर भी देख सकते हैं – https://www.youtube.com/@ThePahad.Com.
हमारा facebook page – https://www.facebook.com/Thepahad